बरगद के पेड़ बचाने के लिए गांव वालों ने किया आंदोलन, आखिरकार मंत्री नितिन गडकरी ने बदला हाईवे का नक्शा - reporterkranti.in

reporterkranti.in

RNI NO CHHHIN/2015/71899

Breaking

Home Top Ad

Post Top Ad

Sunday, July 26, 2020

बरगद के पेड़ बचाने के लिए गांव वालों ने किया आंदोलन, आखिरकार मंत्री नितिन गडकरी ने बदला हाईवे का नक्शा


दिल्ली। पेड़ सिर्फ एक इंसान ही नहीं बल्कि पूरे समाज की जरूरत हैं। महाराष्ट्र में एक पेड़ बचाने को लोगों ने इतना बड़ा आंदोलन कर दिया कि सरकार को लोगों के सामने झुकना पड़ा।
दरअसल, महाराष्ट्र के सांगली जिले में एक पेड़ को बचाने के लिए गांव वालों ने बड़ा आंदोलन कर सरकार की चूलें हिला दी। जिसके बाद सरकार ने हाईवे का नक्शा बदलने का फैसला किया है। 400 साल पुराने इस बरगद के पेड़ को बचाने के लिए सांगली के भोसे गांव के लोगों ने चिपको आंदोलन शुरू कर दिया था। स्टेट हाईवे के बीच में आने के कारण इस पेड़ को काटने का फैसला हाईवे अथॉरिटी द्वारा किया गया था मगर ग्रामीणों के तगड़े विरोध के बाद सरकार अपना फैसला बदलने को मजबूर हुई और हाईवे का नक्शा बदलने का फैसला किया गया।
सांगली के भोसे गांव में मौजूद 400 साल पुराना यह पेड़ 400 वर्ग मीटर में फैला हुआ है। रत्नागिरी-सोलापुर हाईवे पर यह पेड़ ये लम्मा मंदिर के पास है। यहां के लोगों की इस पेड़ से तमाम यादें जुड़ी हुई है और यह पेड़ यहां के लोगों की परंपरा से भी जुड़ा हुआ है। काफी पुराना और बड़ा पेड़ होने के कारण इस पर सैकड़ों तरह की चिड़ियों ने भी अपना बसेरा बना रखा है। सांगली में स्टेट हाईवे-166 के निर्माण के लिए इन दिनों जोर-शोर से काम चल रहा है। जिसके रास्ते में ये पेड़ आ रहा था और जब हाईवे अथॉरिटी ने इसको काटने का फैसला लिया तो गांव वाले आंदोलित हो उठे और इसको बचाने के लिए आंदोलन शुरू कर दिया। आखिरकार उनकी जीत हुई और मंत्री नितिन गडकरी के हस्तक्षेप के बाद पेड़ बच गया।

Post Bottom Ad

ad inner footer